चुनाव में जहाँ एक-एक मत किसी भी उम्मीदवार के भाग्य का निर्धारण करने में महत्वपूर्ण भूमिका अदा करता है, वहीं यदि किसी राज्य में फर्जी मतदाताओं की संख्या एक करोड़ से भी अधिक हो तो ऐसी स्थिति में जीत व हार का अनुमान कौन लगाएगा। और तो और चुनाव आयोग ने सख्ती बरती तो पिछले चुनाव के मुकाबले मतदाताओं के संख्या में एक फीसद की कमी हो गयी। ऐसा वाकया पश्चिम बंगाल में हुआ, जहाँ लोगों को अंदाजा था की पिछले विधानसभा चुनाव के दौरान राज्य में छः से सात फीसद का इजाफा होगा लेकिन इसके उलट आयोग ने जब सख्ती बरतते हुए मतदाता सूची की जाँच कराई तो उनकी संख्या घट गई। आयोग के आंकडे बताते हैं की कोलकाता और बांग्लादेश के सीमावर्ती इलाकों में फर्जी मतदाता अधिक थे। कई-कई इलाके तो ऐसे थे जहाँ सात फीसद तक मतदाताओं के नाम सूची से हटाए गए।
जानकारों का तो यह भी मानना था की पूरे राज्य में फर्जी मतदाताओं की संख्या एक करोड़ थी जो पूरे राज्य के कुल मतदाताओं का २० फीसद है। पुरुलिया, बांकुरा और मेदनापुर जिलों में हालत और भी बदतर थी। १९८० के बाद से पूरे राज्य में करीब २१ लाख बंगलादेशी विस्थापित तरीके से रह रहे हैं जबकि भारत में इनकी संख्या तीन करोड़ है जो विभिन्न राज्यों में रह रहे हैं। यही कारण है की अवैध तरीके से मतदाता सूची में इनके नाम आने से बांग्लादेश के सीमावर्ती इलाकों के ५६ विधानसभा क्षेत्रों के परिणाम को ये प्रभावित करते हैं।
२००४ के लोकसभा चुनाव में यहाँ के विभिन्न मतदान केन्द्रों पर ७५ से लेकर ९५ फीसद मतदान हुआ, जो अपने आप में एक रिकोर्ड है। राज्य के ४८ हजार मतदान केन्द्रों में से ४५२ केन्द्रों पर सीपीआई (एम) को, ११ केन्द्रों पर कांग्रेस को, तो आठ केन्द्रों पर तृणमूल कांग्रेस को ९५ फीसद मत मिले। ९१७ केन्द्रों पर सीपीआई (एम) को, ४२ केन्द्रों पर कांग्रेस को और तृणमूल कांग्रेस को ११ केन्द्रों पर ९० फीसद से अधिक वोट मिले जबकि राज्य के ५,२६९ केन्द्रों पर सीपीआई (एम) को ७५ से ८० फीसद वोट मिले। जीत का कारण भले ही राज्य की वाम सरकार का कामकाज न हो लेकिन पार्टी पूरी मजबूती से जीत की लगाम थामे हुए है।
(यह आलेख २८ मार्च, २००९ को राष्ट्रीय सहारा में छपा है.)
3 comments:
PLEASE PROMOTE IT ON YOU BLOG CREAT AWARENESS
मै अपनी धरती को अपना वोट दूंगी आप भी दे कैसे ?? क्यूँ ?? जाने
शनिवार २८ मार्च २००९समय शाम के ८.३० बजे से रात के ९.३० बजेघर मे चलने वाली हर वो चीज़ जो इलेक्ट्रिसिटी से चलती हैं उसको बंद कर देअपना वोट दे धरती को ग्लोबल वार्मिंग से बचाने के लियेपूरी दुनिया मे शनिवार २८ मार्च २००९ समय शाम के ८.३० बजे से रात के ९.३० बजेग्लोबल अर्थ आर { GLOBAL EARTH HOUR } मनाये गी और वोट देगी
फर्जी मतदाता घट गए
हो गई नेताओं की नींद रावण।
आपने बहुत सही प्रश्न उठाया है,
Post a Comment